दीपावली 2023 लक्ष्मी पूजन मुहूर्त

दीपावली पूजा 2023: लक्ष्मी पूजन का महत्व और मुहूर्त


दीपावली और लक्ष्मी पूजन 12 नवम्बर 2023, रविवार मुहूर्त

यह वर्ष, 12 नवम्बर 2023 को रविवार को अमावास्या तिथि प्रदोष योग्य और निशीथ व्यापनी होगी. इस दिन लक्ष्मी पूजन का आयोजन होगा. लक्ष्मी पूजन प्रदोष योग्य अमावास्या को प्रदोष काल, स्थिर लग्न और स्थिर नवांश में किया जाता है। इस विशेष मुहूर्त के अनुसार चोघडिया मुहूर्त को भी बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है, जो लाभ, अमृत, और शुभ के संकेत के रूप में जाना जाता है।


प्रदोष काल मुहूर्त

12 नवम्बर 2023 को प्रदोष काल शाम 5:29 बजे से 8:08 बजे तक होगा, और इसका महत्व श्री गणेश, श्री महालक्ष्मी पूजन, कुबेर पूजन, व्यापारिक खातों की पूजा, दीपदान, और अपने सेवकों को वस्त्र देने के लिए विशेष रूप से है। प्रदोष काल के दौरान, मंदिर में दीप दान करने, रंगोली बनाने, और पूजा की पूरी तैयारी करनी चाहिए। इस समय में मिठाई वितरण भी किया जा सकता है और द्वार पर स्वस्तिक और शुभ लाभ की चिन्हित सिन्दूर से रंगा जा सकता है।


दीपावली पूजा गोधुलि बेला मुहूर्त 2023

गोधुलि बेला के लिए शुभ मुहूर्त 12 नवंबर 2023 को है, और इसका महत्व 17:39 बजे से 19:35 बजे तक होगा। इस समय भगवान गणेश, देवी लक्ष्मी, कुबेर पूजा, व्यापार की पूजा, और कार्यकर्ताओं को दान देने के लिए शुभ है। इस मुहूर्त में मिठाई, कपड़े, और उपहारों की वितरण के लिए भी बहुत अच्छा है, और यह दोस्तों और रिश्तेदारों के साथ सम्मान का अवसर बना सकता है। यदि आप इस शुभ मुहूर्त के दौरान आध्यात्मिक स्थलों या मंदिरों में दान करते हैं, तो यह आपके लिए अनुकूल होगा।


दीपावली पूजा मुहूर्त - निशीथ काल

निशीथ काल में देवी लक्ष्मी, सभी नौ ग्रहों, मंत्र सुनाना, स्तोत्र पाठ, अनुष्ठान, और वस्त्र, फल, अनाज, और पैसे की पूजा करने के लिए अद्भुत है। निशीथ काल का मुहूर्त 23:39 बजे शुरू होकर 00:32 बजे (13 नवं.) तक रहेगा।


महानिशीथ काल

महानिशीथ काल सिंह लग्न के लिए बेहद शुभ है। दीपावली महानिशीथ काल काल की रात के दौरान (सिंह लग्न) 00:10 से 2:27 बजे (13 नवं.) तक होगा, और यह पूरे भारत के लिए शुभ माना जाता है।


स्थिर लग्न मुहूर्त

विभिन्न लग्नों के लिए स्थिर लग्न मुहूर्त निम्नलिखित है:


  • वृश्चिक लग्न की अवधि: प्रातः 06:55 से प्रातः 09:08 बजे तक
  • कुंभ वृश्चिक लग्न की अवधि: मध्याह्न 01:05 से अपराह्न 02:43 बजे तक
  • वृष लग्न की अवधि: अपराह्न 06:03 से रात्रि 08:04 बजे तक
  • सिंह लग्न की अवधि: रात्रि 12:28 से 02:35 बजे (13 नवं.) तक


पूजन सामग्री

लक्ष्मी और गणेश की प्रतिमा, माला, वस्त्र, प्रसाद, अक्षत, चंदन, सुपारी, पान, मौली, घी, कपूर, लौंग, इलायची, दीप, और धूप जैसे पूजन सामग्री का इस्तेमाल करें।


महालक्ष्मी पूजन की विधि

महालक्ष्मी पूजन की विधि ऋग्वेद के श्रीसूक्त में विधानित है। पूजा के दौरान बीज मंत्र "ॐ स्त्रीं ह्रीं श्री कमले कमलालयी प्रसीदा-प्रसीदा महालक्ष्मी नमो नम:" का जाप करें। मुख्यत: कमलगट्टा, धूप, दीप, नैवेद्य, ऋतुफल, खील-बताशे, पकवान, सुपारी, और पान के पत्ते को महालक्ष्मी को अर्पित करें। इसके साथ ही, पानी वाला नारियल चढ़ाया जाता है।


चोघडिया मुहूर्त

  • शुभ चोघडिया: दोपहर 02:44 बजे से 02:47 बजे तक
  • शुभ अमृत चल चोघडिया: दोपहर 05:29 बजे से 10:26 बजे तक
  • लाभ चोघडिया: रात्रि 01:44 बजे से 03:24 बजे तक (13 नवंबर)
  • शुभ चोघडिया: सुबह 05:03 बजे से 06:42 बजे तक (13 नवंबर)

दीपावली पूजा का आयोजन इन शुभ मुहूर्तों में करें और लक्ष्मी और गणेश का आशीर्वाद पाएं। इस अद्वितीय त्योहार को धार्मिकता और उत्सव के साथ मनाएं, और सभी को धन, सौभाग्य, और समृद्धि की कामना करें।


धन्यवाद, और शुभ दीपावली!

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